नियमित अनुष्ठान से धन्य होती धरती
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देवरिया : यज्ञ से मानव के समूल कष्टों का निवारण हो जाता है। लोक कल्याण के लिए व नियमित जहां अनुष्ठान होता है वहां की धरती धन्य हो जाती है और वातावरण में शुद्धि आ जाती है।
उक्त बातें कामाख्या शक्ति पीठ से पधारे महामंडलेश्वर तांत्रिक योगी श्याम शरण जी ने कही। वे क्षेत्र के ग्राम तिवई स्थित माता परम सुंदरी देवी के स्थान पर चल रहे सहस्त्र चंडी महायज्ञ के दौरान भक्तों को कथा का रसपान करा रहे थे। उन्होंने कहा कि सतयुग व त्रेता में राक्षसों के अत्याचार बढ़ने पर ऋषि महात्माओं ने यज्ञ कर उनसे प्राप्त शक्तियों से असुरों का नाश किया।
उन्होंने कहा कि एक यज्ञ कराने में कोटिश: लाभ सुख मिलता है। लोगों को ऐसे अवसरों का लाभ उठाकर पुण्य का भागी बनने से कभी चुक नहीं करनी चाहिए। हरिद्वार से पधारी मानस कोकिला सुश्री राखी भारती ने भगवान राम के विवाह की कथा का मार्मिक वर्णन कर श्रोताओं को भावविभोर कर दिया। उन्होंने कहा कि एक समय राजा जनक अपनी पत्नी के संग गंगा स्नान के लिए चले गए। इस बीच भगवती सीता जिस कमरे में भगवान शिव का धनुष रखा था। उस स्थान को एक हाथ से उठाकर दूसरे हाथ से उस जगह का चौका लगा दिया। जब राजा जनक गंगा स्नान से लौटे और पूजा कक्ष में ज्योंही प्रवेश किए, वहां का ²श्य देख वह दंग रह गए। वह प्रतिज्ञा किए कि जो भगवान शिव के धनुष को खंडित करेगा उसी के साथ सीता का विवाह होगा। इस दौरान छट्ठेलाल निगम, सुबाष चंद्र मद्वेशिया, मदनमोहन तिवारी, संजय कुमार पांडेय, रामनजर तिवारी, अमरनाथ यादव आदि मौजूद रहे।
उक्त बातें कामाख्या शक्ति पीठ से पधारे महामंडलेश्वर तांत्रिक योगी श्याम शरण जी ने कही। वे क्षेत्र के ग्राम तिवई स्थित माता परम सुंदरी देवी के स्थान पर चल रहे सहस्त्र चंडी महायज्ञ के दौरान भक्तों को कथा का रसपान करा रहे थे। उन्होंने कहा कि सतयुग व त्रेता में राक्षसों के अत्याचार बढ़ने पर ऋषि महात्माओं ने यज्ञ कर उनसे प्राप्त शक्तियों से असुरों का नाश किया।
उन्होंने कहा कि एक यज्ञ कराने में कोटिश: लाभ सुख मिलता है। लोगों को ऐसे अवसरों का लाभ उठाकर पुण्य का भागी बनने से कभी चुक नहीं करनी चाहिए। हरिद्वार से पधारी मानस कोकिला सुश्री राखी भारती ने भगवान राम के विवाह की कथा का मार्मिक वर्णन कर श्रोताओं को भावविभोर कर दिया। उन्होंने कहा कि एक समय राजा जनक अपनी पत्नी के संग गंगा स्नान के लिए चले गए। इस बीच भगवती सीता जिस कमरे में भगवान शिव का धनुष रखा था। उस स्थान को एक हाथ से उठाकर दूसरे हाथ से उस जगह का चौका लगा दिया। जब राजा जनक गंगा स्नान से लौटे और पूजा कक्ष में ज्योंही प्रवेश किए, वहां का ²श्य देख वह दंग रह गए। वह प्रतिज्ञा किए कि जो भगवान शिव के धनुष को खंडित करेगा उसी के साथ सीता का विवाह होगा। इस दौरान छट्ठेलाल निगम, सुबाष चंद्र मद्वेशिया, मदनमोहन तिवारी, संजय कुमार पांडेय, रामनजर तिवारी, अमरनाथ यादव आदि मौजूद रहे।
अस्पताल से प्यासे लौट रहे मरीज
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देवरिया: क्षेत्र के अस्पतालों में मरीजों व तीमारदारों के लिए शुद्ध पेयजल के इंतजाम नहीं हैं। पानी की टंकियां शो पीस बनी हैं तो हैंडपंप दूषित व दुर्गंधयुक्त जल उगल रहे हैं। जिसके सेवन से सेहत और बिगड़ रही है। लिहाजा अस्पतालों से प्यासे लौटना मरीजों की मजबूरी है। जल निगम व स्वास्थ्य महकमा इस समस्या से आंख मूंदे हुए है।
आइए एक नजर दौड़ाते हैं अस्पतालों में पेयजल के इंतजाम पर। नया प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बरहज के मरीजों को टोटी का पानी मयस्सर नहीं है। परिसर में लगा एक मात्र इंडिया मार्का हैंडपंप मीठा जहर उगल रहा है। जिसके सेवन से मरीजों तीमारदारों की सेहत पर असर पड़ रहा है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का भी यही हाल है। यहां प्रतिदिन डेढ़ से दो सौ मरीज व तीमारदार आते हैं। उनके लिए स्वच्छ पानी का कोई इंतजाम नहीं है। परिसर में लगा हैंडपंप दूषित जल दे रहा है। प्राथमिक स्वस्थ्य केंद्र महेन, उच्चीकृत प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भलुअनी, नया प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र धौला पंडित, महुई संग्राम का भी यही हाल है। यहां पेयजल के लिए लगी पानी की टंकी शो पीस बन कर रह गई है। यहां मरीजों के साथ कर्मचारी भी पेयजल की मुश्किलों से दो-चार हैं। मरीजों को तो प्यास बुझाने के लिए अस्पताल परिसर से बाहर जाना पड़ता है।
प्रहलाद गुप्ता, राकेश त्रिपाठी, अनिल निषाद, अमित जायसवाल, परमहंस राय, मनीष मल्ल, राजेश शर्मा, संदीप कुमार, मुन्ना बरनवाल, छात्र नेता इमामुद्दीन खान, हिमांशु पांडेय, शेषनाथ यादव, मनोज पहलवान, अनिल कसेरा आदि का कहना है कि विभागीय अफसर मरीजों की सेहत को लेकर बेपरवाह हैं। पेयजल जैसी आवश्यक जरुरतों पर लापरवाह रवैया हैरान करने वाला है।
आइए एक नजर दौड़ाते हैं अस्पतालों में पेयजल के इंतजाम पर। नया प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बरहज के मरीजों को टोटी का पानी मयस्सर नहीं है। परिसर में लगा एक मात्र इंडिया मार्का हैंडपंप मीठा जहर उगल रहा है। जिसके सेवन से मरीजों तीमारदारों की सेहत पर असर पड़ रहा है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का भी यही हाल है। यहां प्रतिदिन डेढ़ से दो सौ मरीज व तीमारदार आते हैं। उनके लिए स्वच्छ पानी का कोई इंतजाम नहीं है। परिसर में लगा हैंडपंप दूषित जल दे रहा है। प्राथमिक स्वस्थ्य केंद्र महेन, उच्चीकृत प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भलुअनी, नया प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र धौला पंडित, महुई संग्राम का भी यही हाल है। यहां पेयजल के लिए लगी पानी की टंकी शो पीस बन कर रह गई है। यहां मरीजों के साथ कर्मचारी भी पेयजल की मुश्किलों से दो-चार हैं। मरीजों को तो प्यास बुझाने के लिए अस्पताल परिसर से बाहर जाना पड़ता है।
प्रहलाद गुप्ता, राकेश त्रिपाठी, अनिल निषाद, अमित जायसवाल, परमहंस राय, मनीष मल्ल, राजेश शर्मा, संदीप कुमार, मुन्ना बरनवाल, छात्र नेता इमामुद्दीन खान, हिमांशु पांडेय, शेषनाथ यादव, मनोज पहलवान, अनिल कसेरा आदि का कहना है कि विभागीय अफसर मरीजों की सेहत को लेकर बेपरवाह हैं। पेयजल जैसी आवश्यक जरुरतों पर लापरवाह रवैया हैरान करने वाला है।